मंगलवार, 29 अक्तूबर 2019

अल्मोड़ा की लीसा फैक्ट्री और रुड़की के एक घर में लगी आग, भागकर बचाई जान...

प्रजा दत्त डबराल @ अल्मोड़ा उत्तराखंड 


      दिवाली की रात जालधौलाड़ स्थित ग्राम स्वराज मंडल सोसायटी लीसा और बिरोजा फैक्टी में आग लग गई। अग्निकांड में फैक्ट्री में रखा लीसा और मशीनें जल गईं। आग की लपटें काफी ऊंची उठने से लोग आग बुझाने में असफल रहे। अल्मोड़ा से फायर ब्रिगेड के तीन वाहन मंगाए गए। चार घंटे बाद आग बुझाई जा सकी। आग लगने का कारण अज्ञात है। फैक्ट्री मालिक के अनुसार लाखों रुपये का नुकसान हुआ है। इससे पूर्व भी पिछले साल पांच जून 2018 को इसी फैक्ट्री में आग चुकी है। उधर, रुड़की के एक घर में भी आग लग गई।



गनीमत रही कि परिवार वालों की आंख खुल गई और उन्होंने घर से बाहर निकलकर जान बचाई।रविवार शाम करीब साढ़े छह बजे जालधौलाड़ स्थित लीसा और बिरोजा फैक्ट्री में काम करने वाले मजदूर त्यौहार पर घर चले गए थे। उनके जाने के करीब एक घंटे बाद शाम 7:30 बजे लीसा और बिरोजा फैक्ट्री में अचानक आग लग गई। देखते ही देखते आग ने पूरी फैक्ट्री को चपेट में ले लिया और ऊंची लपटें उठने लगीं। स्थानीय लोगों ने इसकी सूचना फैक्ट्री मालिक चनौदा निवासी बालम भाकुनी और सोमेश्वर पुलिस को दी।थानाध्यक्ष रमेश बोहरा के नेतृत्व में पुलिस कर्मी मौके पर पहुंचे और अल्मोड़ा से फायर ब्रिगेड मंगाई गई। पुलिस और लोगों ने आग बुझाने की कोशिश की, लेकिन आग की ऊंची उठतीं लपटों के चलते लोग आग बुझाने में सफल नहीं हो सके।


अल्मोड़ा से रात करीब 9:35 बजे फायर ब्रिगेड की तीन गाड़ियां मौके पर पहुंचीं। लेकिन तब तक फैक्ट्री में रखा लीसा, बिरोजा समेत अन्य सामान जल गया था। करीब चार घंटे बाद आग पर काबू पाया जा सका। फैक्ट्री मालिक बालम भाकुनी ने बताया कि फैक्ट्री में करीब एक करोड़ का मशीन प्लांट समेत अन्य सामान था, जो करीब 75 फीसदी जल चुका है। सर्वेयर की रिपोर्ट के बाद ही वास्तविक नुकसान की जानकारी मिल सकेगी। इधर थानाध्यक्ष रमेश बोहरा ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है। आकलन के बाद ही कितना नुकसान हुआ इसके बारे में कहा जा सकता है।