बुधवार, 27 फ़रवरी 2019

दिल्ली पुलिस और मारुति सुजुकी ने रेड लाईट वॉयलेशन डिटेक्शन एवं स्पीड वॉयलेशन डिटेक्शन सिस्टम के लॉन्च के लिए हाथ मिलाया...

प्रजा दत्त डबराल : नई दिल्ली



 


दिल्ली पुलिस और देश के प्रमुख यात्री वाहन निर्माता मारुति सुजुकी इण्डिया लिमिटेड ने आज साझेदारी में अपनी तरह के पहले ‘‘रेड लाईट वॉयलेशन डिटेक्शन एवं स्पीड वॉयलेशन डिटेक्शन सिस्टम’ का उद्घाटन किया है।


दिल्ली के माननीय उपराज्यपाल अनिल बैजल ने इस पहल का उद्घाटन किया। उद्घाटन के अवसर पर श्री अमूल्य पटनायक, कमिश्नर, दिल्ली पुलिस, श्री आर सी भार्गव, चेयरमैन, मारुति सुजुकी और श्री केनिची आयुकावा, मैनेजिंग डायरेक्टर एवं सीईओ, मारुति सुजुकी भी मौजूद थे। इसकी परिकल्पना पिछले वर्ष माननीय उपराज्यपाल महोदय के साथ मारूति के चेयरमैन की बैठक में की गई थी।


पारदर्शिता के साथ यातायात नियमों के अनुपालन को सुनिश्चित करने के लिए टेक्नोलॉजी के इस्तेमाल द्वारा सड़क सुरक्षा को प्रोत्साहित करना इस पहल का मुख्य उद्देश्य।


मारुति सुजुकी की सीएसआर पहल के सहयोग से दिल्ली पुलिस की अनूठी पहल ।


रिंग रोड पर धौला कुंआ और सराय काले खां के बीच 9 सिगनलाइज़्ड जंक्शन्स पर सिस्टम लगाया गया।


इस पहल का मुख्य उद्देश्य वाहन चालकों और सड़क पार करने वाले पैदल यात्रियों को एक सुरक्षित ड्राइविंग का अनुभव प्रदान करना तथा सड़क सुरक्षा नियमों के अनुपालन में सुधार लाकर सड़क दुर्घटनाओं एवं इनके कारण होने वाली मौतों की संख्या को कम करना है। यातायात नियमों के उल्लंघन से लेकर ई-चालान जारी करने तक, यह सम्पूर्ण स्वचालित प्रणाली यातायात नियमों के पालन को सशक्त बनाएगी तथा पूरे सिस्टम में पारदर्शिता लाएगी। इससे जहां एक ओर पैदल यात्री की सुरक्षा पर जागरुकता बढ़ेगी, वहीं दूसरी ओर यातायात के सुगम संचालन को भी बढ़ावा मिलेगा।


माननीय उपराज्यपाल महोदय ने रेड लाईट वॉयलेशन डिटेक्शन एवं स्पीड वॉयलेशन डिटेक्शन सिस्टम की शुरूआत करते हुए शहर में सड़क सुरक्षा परिदृश्य को बेहतर बनाने के लिए दिल्ली पुलिस एवं मारूति सुजुकी के संयुक्त प्रयासों की सराहना की। श्री बैजल ने कहा कि यह परियोजना तकनीक के बेहतर क्रियान्वयन एवं यातायात नियमों को पालन करने की संस्कृति को बढ़ाएगी। यह प्रणाली मोटरचालकों के साथ-साथ पैदल यात्रियों की सुरक्षा को सुदृढ़ बनाएगी और यातायात  को सुचारू रूप से चलाने और दुर्घटनाओं को कम करेगी।



आधुनिक तकनीक से युक्त यह स्वचालित प्रणाली वाहन चालकों में अनुशासन को प्रोत्साहित करेगी और यातायात नियमों के अनुपालन को बढ़ावा देगी।


इस सिस्टम को धौला कुंआ और सराय काले खां के बीच 14 किलोमीटर के रिंग रोड कॉरीडोर में लगाया गया है, जो गहन यातायात वाले 9 जंक्शन्स को कवर करता है। यह राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में अपनी तरह की पहली परियोजना है, जो सरकार के दृष्टिकोण के अनुरूप देश में सड़क दुर्घटनाओं एवं इनके कारण होने वाली मौतों की संख्या को कम करने में मदद करेगी।


नया सिस्टम 3-डी राडार और 100 से अधिक हाई-रेज़ोल्यूशेन कैमरों से युक्त है जिसके ज़रिए वाहनों तथा यातायात नियमों के उल्लंघन पर पूरी निगरानी रखी जाती है। ये कैमरे यातायात नियमों के उल्लंघन को कैद कर लेते हैं -जैसे लाल बत्ती पार करना; गति सीमा का उल्लंघन, स्टॉप लाईन का उल्लंघन, गलत साईड पर वाहन चलाना या वाहन के पंजीकरण नंबर से संबधित उल्लंघन आदि।



सिस्टम उल्लंघन के आंकड़ों को स्वचालित रूप से एनक्रिप्ट कर नारायणा के नज़दीक टोडापुर में स्थित दिल्ली यातायात पुलिस मुख्यालय के केन्द्रीय सर्वर को भेज देता है। इसके बाद फोटो-प्रमाण के साथ ई-चलान बनाकर एसएमएस/ ईमेल/ पोस्ट के ज़रिए उल्लंघनकर्ता को भेजा जाता है। यह सिस्टम, प्रभाविता के मूल्यांकन के लिए डेटा एनालिटिक्स एवं ट्रेंड रिपोर्ट बनाने में भी सक्षम है।


यह सिस्टम 24x7 काम करने में सक्षम है और खासतौर पर रात के समय सड़क उपयेगकर्ताओं के लिए बेहद फायदेमंद होगा।


मारुति सुजुकी ने इस सिस्टम की स्थापना के लिए रु 16 करोड़ का निवेश किया है। उद्घाटन के बाद यह हाई-टेक सिस्टम दिल्ली पुलिस की निगरानी में रहेगा जबकि मारुति सुजुकी अपने इम्प्लीमेंटेशेन साझेदारों- डीआईएमटीएस और आबमेटिका- के सहयोग से दो सालों के लिए इसका रखरखाव करेगी।